TIO, मॉस्को।
रूस ने खालिस्तान समर्थक आतंकी गुरपतवंत सिंह पन्नू की हत्या के प्रयास की साजिश के मामले में भारत पर लगातार निराधार आरोप लगाने के लिए अमेरिका को आड़े हाथों लिया है। रूस ने कहा, अमेरिका का मकसद भारत के आंतरिक राजनीतिक हालात में गड़बड़ी पैदा करना है, जिससे आम चुनाव बाधित किए जा सकें। यह भारत के अंदरूनी मामलों में दखल का हिस्सा है।
यह भारत का अनादर
रूसी विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता मारिया जखारोवा ने कहा कि हमारी जानकारी के अनुसार, वाशिंगटन ने अभी तक पन्नू नामक किसी व्यक्ति की हत्या की साजिश में भारतीय नागरिकों के शामिल होने की कोई भरोसेमंद जानकारी या सबूत पेश नहीं किया है। जखारोवा ने कहा, धार्मिक आजादी के उल्लंघन की बात अमेरिका की भारत की राष्ट्रीय मानसिकता को लेकर कमजोर समझ और संप्रभु देश के तौर पर भारत के प्रति अनादर को दशार्ती है।
क्या है गुरुपतवंत सिंह पन्नू का मामला
अमेरिका के न्याय विभाग के अनुसार, 52 वर्षीय निखिल गुप्ता एक भारतीय नागरिक हैं। 30 जून 2023 को चेक रिपब्लिक में गुप्ता को गिरफ्तार कर लिया गया था। अब चेक रिपब्लिक से निखिल गुप्ता को अमेरिका प्रत्यर्पण किया जाएगा। अमेरिकी न्याय विभाग का कहना है कि भारत के एक सरकारी अधिकारी, जिसके नाम का खुलासा नहीं हुआ है, वह निखिल गुप्ता और अन्य उस सरकारी अधिकारी के संपर्क में था। ये लोग अमेरिका में एक राजनीतिक कार्यकर्ता गुरुपतवंत सिंह पन्नू, जो भारतीय मूल का है और अमेरिकी नागरिक है, उसकी हत्या की साजिश रच रहे थे।
पहले भी अमेरिका साफ कर चुका है मामला
हाल ही में, अमेरिकी विदेश विभाग के प्रवक्ता मैथ्यू मिलर ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा था कि अमेरिका अंतरराष्ट्रीय उत्पीड़न को सहन नहीं करता, यह बात सिर्फ भारत के लिए नहीं है, बल्कि पूरे विश्व के लिए है। हम विरोध करते हैं फिर चाहे वह कोई भी देश हो। यह एक बड़ा मुद्दा है और हम मंचों से ऐसे लोगों के बारे में बात नहीं करते। हमें जैसे ही मामले की जानकारी मिली वैसे ही हमारे वरिष्ठ अधिकारियों ने भारतीय वरिष्ठों के साथ बैठक की। हमने स्पष्ट कर दिया कि हम ऐसे किसी मामले को बेहद गंभीरता से लेते हैं। भारत मामले की जांच कर रहा है। हम जांच के नतीजे देखने के लिए उत्सुक हैं।