TIO, जम्मू।

नए जम्मू-कश्मीर में पहली बार हो रहे विधानसभा चुनावों में राजनीति की बिसात पर अपनी मजूबत मौजूदगी दर्ज कराने के लिए सभी राजनीतिक दलों ने अपने-अपने स्तर पर तैयारियां शुरू कर दी हैं। भाजपा की ओर से प्रदेश का चुनाव प्रभारी बनाए जाने के दूसरे दिन ही बुधवार को राम माधव श्रीनगर पहुंच गए। दूसरी ओर कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे के साथ लोकसभा में नेता विपक्ष राहुल गांधी ने भी डेरा जमा लिया है। वह नेशनल कॉन्फ्रेंस के साथ गठबंधन को अंतिम रूप दे सकते हैं।

सभी राजनीतिक दलों का मुख्य ध्यान कश्मीर पर ध्यान केंद्रित है। सूत्र बताते हैं कि वर्ष 2015 में भाजपा पीडीपी गठबंधन की सरकार के शिल्पकार रहे राम माधव ने श्रीनगर पहुंचते ही पार्टी नेताओं से जमीनी हकीकत की जानकारी ली। चुनाव की तैयारियों पर चर्चा की। माना जा रहा है कि प्रदेश भाजपा में दो चुनाव प्रभारी बनाने का उद्देश्य दोनों संभागों पर अधिक ध्यान केंद्रित करना है। ऐसे में राम माधव कश्मीर पर अधिक फोकस कर सकते हैं।

कांग्रेस-नेशनल कॉन्फ्रेंस पर भाजपा की पैनी नजर
दूसरी ओर भाजपा, कांग्रेस-नेकां के बीच पक रही राजनीतिक खिचड़ी पर पैनी नजर रखे हुए है। इस गठबंधन के नफा- नुकसान का भी आकलन कर रही है। अगर नेकां-कांग्रेस में बात बन जाती है तो जम्मू संभाग के कई विधानसभा क्षेत्रों में भाजपा को मजबूत चुनौती मिलेगी। लोकसभा चुनाव में जम्मू संसदीय सीट पर कांग्रेस को आरएस पुरा-जम्मू दक्षिण, सुचेतगढ़, गुलाबगढ़ में बढ़त मिली थी। उधमपुर संसदीय सीट पर भी कांग्रेस को बनिहाल, डोडा, भद्रवाह, इंद्रबल विधानसभा क्षेत्रों में जीत मिली थी।

पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष ने माना, गठबंधन जरूरी
दूसरी ओर कांग्रेस के वरिष्ठ नेता राहुल गांधी पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे के साथ सीधे श्रीनगर पहुंचे। ऐसी संभावना है कि वह नेकां नेताओं के साथ मुलाकात हो सकती है। हालांकि नवनियुक्त प्रदेशाध्यक्ष तारिक हमीद कर्रा का कहना है कि राहल गांधी का दौरा पहले से तय था। वह पार्टी सम्मेलन के लिए आए हैं। ना कि किसी गठबंधन पर चर्चा के लिए। वैसे हमने समान विचारधारा वाले दलों से गठबंधन का विकल्प खुला रखा है। 2024 के लोकसभा चुनाव पर दोनों दल गठबंधन कर चुके हैं।

Shashi Kumar Keswani

Editor in Chief, THE INFORMATIVE OBSERVER